उड़द दाल के पोषक तत्व और अद्भुत फायदे
2022-08-30 00:00:00
सेहत के दृष्टिकोण से दाल का सेवन बहुत जरुरी होता है। इन्हीं दालों की श्रेणी में से एक उड़द भी हैं। जिसका सेवन भारत के साथ-साथ अन्य देशों में भी किया जाता है। उड़द दाल को विभिन्न भाषाओं में अलग-अलग नामों से जाना जाता है। इसे काली दाल, मटपे बीन्स और मुंगो बीन्स के नाम से भी जाना जाता है। इसके अलावा उड़द को अंग्रेजी में ब्लैक ग्राम (Black Gram) कहते हैं और इसका वैज्ञानिक नाम विग्ना मूंगो (Vigna Mungo) होता है।
उड़द की दाल का उपयोग सिर्फ खाने भर तक सीमित नहीं है। क्योंकि उड़द कई तरह की शारीरिक समस्याओं को दूर करने में भी मदद करता है। इसमें कई तरह के खनिज पदार्थ, एंटीऑक्सीडेंट और प्रोटीन मौजूद होते हैं। जो शरीर को लंबे समय तक स्वस्थ रखने का काम करते हैं। आयुर्वेद में भी इसके पौष्टिक गुण कई तरह की बीमारियों को दूर एवं ठीक करने में सहायता करते हैं। उड़द दाल के सेवन से पाचन संबंधी समस्या, मधुमेह, ऊर्जा और हड्डियों को मजबूती बनाने में मदद मिलती है।
उड़द के पोषक तत्व-
उड़द दाल प्रोटीन और कार्बोहाइड्रेट का समृद्ध स्त्रोत मानी जाती है। जो सेहत के लिए कई तरह से फायदेमंद होते हैं। इसमें विटामिन, आयरन, कैल्शियम, मैग्नीशियम, सोडियम, पोटेशियम आदि शामिल होते हैं। इसके अलावा उड़द दाल में ऊर्जा, आयरन, कैलोरी, फाइबर और फैटी एसिड भी मौजूद होते हैं। यह सभी पोषक तत्व हमारे शरीर को रोगों से बचाते हैं।
उड़द दाल के फायदे-
- पाचन के लिए-उड़द की दाल सेहत के लिए अच्छी होती है क्योंकि इसमें घुलनशील और अघुलनशील फाइबर होता है। या फाइबर पाचन तंत्र और सकरात्मक प्रभाव दिखाता है। यह पाचन में मदद करता है और शरीर में गैस को बनने से रोकता है। इसमें मौजूद सभी तत्व पाचन तंत्र में सुधार कर, शरीर में मौजूद टॉक्सिक पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करते हैं। इस आधार पर उड़द दाल का सेवन, पाचन तंत्र को बेहतर बनाने में सहायता करता है।
- अस्थि खनिज घनत्व को बढ़ाने के लिए-उड़द की दाल मैग्नीशियम, आयरन, पोटेशियम, फास्फोरस और कैल्शियम जैसे आवश्यक खनिजों से भरपूर होती है। यह सभी खनिज अस्थि घनत्व को बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। दरअसल उम्र बढ़ने के साथ-साथ हड्डियां कमजोर हो जाती हैं। जिससे फ्रैक्चर और ऑस्टियोपोरोसिस की समस्या होने की संभावना बढ़ जाते हैं। ऐसे में खनिजों से भरपूर आहार का सेवन स्वस्थ हड्डियों को बनाए रखने में मदद करता है।
- मधुमेह से पीड़ित लोगों के लिए-मधुमेह वाले लोगों के लिए अक्सर उच्च फाइबर युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन करने की सलाह दी जाती है। क्योंकि यह पाचन तंत्र द्वारा अवशोषित पोषक तत्वों की मात्रा को नियंत्रित करने में सहायक होते हैं। इसके अलावा उड़द की दाल रक्त में मौजूद ग्लूकोज की मात्रा को कम करने का काम करते हैं। इस प्रकार यह मधुमेह के रोगियों के लिए फायदेमंद है।
- त्वचा के लिए-उड़द की दाल का इस्तेमाल त्वचा से संबंधित लगभग हर आयुर्वेदिक दवा में किया जाता है। दरअसल यह खनिजों और विटामिनों से समृद्ध है। यह त्वचा की सूजन को कम करता है। यह दाग-धब्बों को दूर करने में भी मदद करता है। इस प्रकार उड़द की दाल त्वचा को चमकदार बनाने और मृत कोशिकाओं को पुनर्जीवित करने में मदद करता है।
- हृदय स्वास्थ्य के लिए-ह्रदय स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिए अपने आहार में उड़द की दाल को शामिल करना बेहद फायदेमंद होता है। क्योंकि इसमें उच्च मात्रा में फाइबर, मैग्नीशियम और पोटेशियम पाया जाता है। यह सभी तत्व कई लाभ प्रदान करते हैं जो हृदय प्रणाली को स्वस्थ रखते हैं। यह कोलेस्ट्रॉल को संतुलित करता है, जो एक स्वस्थ्य दिल के लिए जरुरी होता है। इसके अतिरिक्त उड़द की दाल एथेरोस्क्लेरोसिस को रोकने में मदद करता है।
- ऊर्जा प्रदान के लिए-उड़द की दाल में आयरन की अधिकता होती है। यह शरीर में समग्र ऊर्जा स्तर को बढ़ाने के लिए अच्छी होती है। दरअसल आयरन शरीर के लिए एक महत्वपूर्ण पोषक तत्व है जो लाल रक्त कोशिकाओं के उत्पादन को उत्तेजित करता है। यह कोशिकाएं शरीर के सभी अंगों तक ऑक्सीजन पहुंचाती हैं। इस प्रकार, यह शरीर में ऊर्जा को बढ़ाता है।
- उड़द दाल के नुकसान-यूं तो उड़द दाल के सेवन से कोई दुष्प्रभाव नहीं होता है। लेकिन इसके सेवन से शरीर में यूरिक एसिड का स्तर बढ़ता है। इसलिए गाउट, गुर्दे एवं पित्त के पथरी से ग्रसित लोगों को इसका सेवन नहीं करना चाहिए। क्योंकि यह शरीर में यूरिक एसिड की अधिक मात्रा होने से कैल्सिफिकेशन बढ़ता है।