रोजमेरी एसेंशियल ऑयल और इसके फायदे
2022-05-24 17:21:46
शरीर की कई समस्याओं के लिए तमाम जड़ी-बूटियों को उनके औषधीय गुण के अनुसार आयुर्वेद में विशेष दर्जा दिया गया है। रोजमेरी भी उन्हीं जड़ी-बूटियों में से एक है। जो गंभीर से गंभीर बीमारी को ठीक करने की क्षमता रखती है। रोजमेरी को केशवास और गुलमेंहदी नाम से भी जाना जाता है। एक प्राकृतिक जड़ी-बूटी होने की वजह से रोजमेरी एसेंशियल ऑयल को कई रोगों के लिए रामबाण औषधि माना जाता है। इस तेल में आयरन, कैल्शियम, कार्बोहाइड्रेट, विटामिन्स, पोटेशियम आदि खनिज पाए जाते हैं। जो शरीर को कई रोगों से बचाने का काम करते हैं। यह तेल शरीर के इम्यून सिस्टम को बेहतर बनाता है और दर्द, सूजन, कैंसर आदि के प्रभाव को भी कम करता है।
रोजमेरी एसेंशियल आयल में कैफीक एसिड, रोस्मारिनिक एसिड, कार्नोसिक एसिड, बीटीलिनिक एसिड, कार्नोसोल, उर्सोलिक एसिड और कपूर जैसे घटक भी होते हैं। इसके अतिरिक्त इस तेल में पाए जाने वाले जीवाणुरोधी, एंटी इंफ्लेमेटरी, एनाल्जेसिक और एंटीफंगल गुण भी मौजूद होते हैं। जो पाचन और श्वास सम्बंधित समस्याओं को दूर करने में मदद करते हैं।
क्या है रोजमेरी एसेंशियल ऑयल?
रोजमेरी एसेंशियल ऑयल एक खुशबूदार तेल है। इस तेल को रोजमेरी नाम की जड़ी-बूटी से तैयार किया जाता है। रोजमेरी एक प्रभावशाली जड़ी-बूटी के रूप में पूरे संसार में लोकप्रिय है। कई विदेशी व्यंजनों में स्वाद बढ़ाने हेतु रोजमेरी के ताजे पत्तों का उपयोग किया जाता है। रोजमेरी और इसके ऑयल का इस्तेमाल सौंदर्य प्रसाधन उत्पादों में भी किया जाता है।
रोजमेरी एसेंशियल ऑयल के फायदे-
इम्यूनिटी-
कमजोर इम्यूनिटी के कारण शरीर संक्रमण और बीमारियों से ठीक से लड़ नहीं पाता। इसलिए अच्छे स्वास्थ्य के लिए अच्छे इम्यून सिस्टम का होना बेहद जरूरी है। इसके लिए आप रोजमेरी तेल का इस्तेमाल कर सकते हैं। क्योंकि रोजमेरी तेल में विटामिन-ए उच्च मात्रा में होता है। जिसे इम्यूनिटी (रोग प्रतिरक्षा प्रणाली) के लिए महत्वपूर्ण पोषक तत्व माना जाता है।
सर्दी और खांसी-
रोजमेरी का तेल एंटीइंफ्लेमेटरी और एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होता है। जो वायरल संक्रमण को दूर करने का काम करते हैं। जिसके बाद सर्दी-खांसी में आराम लगने लगता है। इस एसेंशियल ऑयल की तेज औषधीय गंध बंद नाक को खोलने में मदद करती है।
रक्त संचार-
शरीर में ठीक रक्त संचालन का होना बेहद जरूरी होता है। क्योंकि रक्त संचार से ही शरीर की कोशिकाओं में पोषक तत्वों और ऑक्सीजन का प्रवाह होता है। इसलिए रक्त संचालन में बाधा आने से टिशू और कोशिकाओं को नुकसान हो सकता है। परिणामस्वरूप हाथ-पैरों में अल्सर और क्लॉट जैसी समस्याएं सामने आने लगती हैं। ऐसे में रोजमेरी का तेल रक्त संचार के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह तेल शरीर में रक्त संचार को बढ़ावा देता है। रोजमेरी के तेल में विटामिन बी-6 भरपूर मात्रा में होता है। जो लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण को बढ़ाता है और नर्वस सिस्टम को संतुलित (Balanced) करता है। इसके अतिरिक्त इसमें मौजूद विटामिन-सी शरीर में टिशू निर्माण और उनकी मरम्मत करने का काम करता है।
मौखिक स्वास्थ्य -
ओरल हेल्थ या मौखिक स्वास्थ्य के लिए भी रोजमेरी तेल के कई फायदे हैं। माउथवॉश के रूप में रोजमेरी तेल को एक कप पानी में मिलाकर इस्तेमाल किया जा सकता है। दरअसल रोजमेरी तेल एंटीबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होता है। जो दांत और मसूड़ों के संक्रमण को कम करता है। इसके अतिरिक्त रोजमेरी का अर्क (Extract) कैविटी और दांत टूटने की समस्या को दूर करता है।
सूजन और दर्द-
रोजमेरी तेल में एंटी इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद होता है। जो शरीर की सूजन और दर्द पर सकारात्मक प्रभाव डालता है। इसके लिए रोजमेरी तेल को दर्द वाले प्रभावित हिस्से पर लगाना होता है।
सिरदर्द-
रोजमेरी का तेल सिरदर्द में भी फायदा करता है। दरअसल रोजमेरी का तेल दर्द निवारक गुण से भरपूर होता है। जो सिरदर्द में शीघ्र राहत देने का काम करता है।
मांसपेशियों और जोड़ों का दर्द-
रोजमेरी तेल दर्द निवारक और एंटीइंफ्लामेटरी गुणों से समृद्ध होता है। जो मांसपेशियों और हड्डियों के दर्द व सूजन को कम करता है। इस तेल में एंटीस्पास्मोडिक गुण भी होते हैं। जो ऐंठन और उसके दर्द को कम करने का काम करते हैं।
तनाव-
रोजमेरी तेल की खुशबू बॉडी को तरोताजा रखती है। इस तेल का नियमित इस्तेमाल मांसपेशियों और सिरदर्द को कम करता है। वहीं इस तेल को सूंघने से तनाव को भी कम किया जा सकता है। आयुर्वेद के अनुसार रोजमेरी तेल को सूंघने से मूड में बदलाव आता है और मानसिक तनाव कम होता है।
मानसिक विकास-
रोजमेरी तेल मानसिक कार्यप्रणाली में सुधार करता है। रोजमेरी का तेल एक मेमोरी बूस्टर का काम करता है। इसके इस्तेमाल से स्मरण शक्ति का विकास होता है। इसलिए याददाश्त कमजोर होने पर इस तेल का उपयोग करना अच्छा होता है।
त्वचा के लिए-
रोजमेरी का तेल त्वचा के लिए फायदेमंद साबित होता है। रोजमेरी के पत्तों में मौजूद विटामिन-सी त्वचा में कोलेजन को बढ़ाने का काम करता है। रोजमेरी का तेल एंटी इंफ्लेमेटरी और एंटी बैक्टीरियल गुणों से समृद्ध होने के कारण त्वचा में जलन और जीवाणु संक्रमण को कम करने का काम करते हैं।
बालों के लिए-
रोजमेरी का तेल बालों के लिए भी लाभदायक होता है। एक रिसर्च रिपोर्ट के अनुसार रोजमेरी का तेल एंड्रोजेनिक एलोपीसिया (Androgenic alopecia) पर प्रभावी असर दिखाता है। दरअसल एंड्रोजेनिक एलोपीसिया एक चिकित्सीय स्थिति है। इसमें खोपड़ी (स्कैल्प) से सारे बाल हमेशा के लिए झड़ जाते हैं। इस स्थिति में रोजमेरी तेल का इस्तेमाल करने पर सकारात्मक परिणामों की प्राप्ति होती है। इसलिए झड़ते बालों को रोकने और उनके विकास के लिए रोजमेरी तेल को हेयर ऑयल के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है।
लिवर डिटॉक्स और गॉल ब्लैडर (पित्ताशय) की कार्यप्रणाली में सुधार-
रोजमेरी तेल में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट गुण लिवर और उसकी कोशिकाओं को स्वस्थ बनाने में मदद करते हैं। रोजमेरी तेल कोशिकाओं में कैंसर टिशू के प्रसार को रोकने की क्षमता रखता है। यह तेल गॉल ब्लैडर यानी पित्ताशय से जुड़ी बीमारियों को ठीक कर उसकी कार्यक्षमता को बढ़ाने का भी काम करता है।
दुर्गंध को दूर करे-
रोजमेरी का इस्तेमाल कई प्रकार के सौंदर्य प्रसाधनों (Cosmetics) में किया जाता है। क्योंकि रोजमेरी एक सुगंधित औषधि है। इसलिए इसका प्रयोग डिफ्यूजर, रूम फ्रेशनर, इत्र (Perfume) और सुगंधित अगरबत्तियों के लिए भी किया जाता है। रोजमेरी तेल की हर्बल सुगंध मूड को रिफ्रेश करने का काम करती है।
रोजमेरी तेल के नुकसान-
- रोजमेरी तेल के अधिक प्रयोग से स्किन एलर्जी होने का खतरा रहता है।
- रोजमेरी तेल को कभी खाद्य पदार्थ के रूप में इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। यह शरीर पर कई तरह के नकारात्मक प्रभाव डालता है।
- रोजमेरी तेल का अधिक उपयोग मानसिक विकारों को जन्म देता है। इसलिए इसका उपयोग डॉक्टर की सलाह के अनुसार करें।